rashtrya ujala

Wednesday, July 22, 2009

चांद पर पहुँचने के 40 साल

चालीस साल पहले चंद्रमा पर उतरनेवाले दो अंतरिक्ष यात्रियों ने मंगल पर अंतरिक्ष यात्रियों को भेजने के प्रयास तेज़ करने को कहा है.ओपोलो अभियान में हिस्सा लेने वाले अंतरिक्ष यात्री एडविन बज़ एलड्रिन और माइकल कॉलिंस ने कहा कि मंगल को लेकर अब अभियान चलाने की ज़रूरत है.
इस मौक़े पर चंद्रमा पर सबसे पहले उतरने वाले अंतरिक्ष यात्री नील आर्मस्ट्रॉन्ग ने कहा कि शुरूआत में चांद को लेकर अमरीका और पूर्व सोवियत संघ में प्रतिस्पर्धा थी लेकिन अब दोनों देश एकदूसरे को सहयोग देने लगे हैं.
उल्लेखनीय है कि ठीक 40 साल पहले 20 जुलाई, 1969 को मानव ने चंद्रमा की सतह पर पहला क़दम रखा था.
लेकिन 1972 के बाद चांद अभियान को समाप्त कर दिया गया. नासा 2010 में शटल यानों को सेवा से हटा रहा है.
कुछ दिनों पहले अमरीका ने एक बार फिर चांद पर अभियान भेजने पर सहमति जताई थी लेकिन आर्थिक मंदी को देखते हुए लगता है कि ये एक बार फिर टल सकता है.ग़ौरतलब है कि अपोलो-11 में बैठकर तीन अंतरिक्ष यात्री नील आर्मस्ट्रांग, एडविन एल्ड्रिन और मिशेल कॉलिंस इस अभियान पर निकले थे.आर्मस्ट्रांग और एल्ड्रिन चांद पर उतरे जबकि कॉलिंस यान में रहे थे.अंतरिक्ष में तीनों ने अपनी-अपनी नज़र से चांद और धरती को देखा. अभियान से वापसी के बाद उन्होंने जो कहा, वह अब इतिहास का हिस्सा है.

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